Home » Diary » 09-01-12 09-01-12 करेले की जात कड़वा मगर फायदेमंद पंडित कुमार गंधर्व सुनती हुई मेरी ढ़ाई साला बेटी सर्दी के मारे रजाई में सोई है.आँखें खुली है. कान खुले हैं.इस बात के कितने अंदाज़ निकाले जा सकते हैं? Share: Facebook Twitter Google+ StumbleUpon Digg Delicious LinkedIn Reddit Technorati
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